मूली, गाजर, शकरकंद और शलगम हैं वेट लॉस करने वाली रूट वेजिटेबल्स, यहां जानिए ये कैसे मदद करती हैं

जड़ वाली सब्जियाँ फाइबर और कॉम्पलेक्स कार्बोहाइड्रेट से भरपूर होती हैं, जो ऊर्जा का मुख्य स्रोत हैं। इससे शरीर को फाइटोकेमिकल्स की प्राप्ति होती हैं। इन्हें सेलेड और स्मूदी के रूप में लेने से पेट देर तक भरा रहता है, जिससे बढ़ते वज़न को रोका जा सकता है।
root vegetable ke fayde
आहार में जड़ वाली सब्जियों को शामिल करने से शरीर को सॉल्यूबल व इनसॉल्यूबल फाईबर और माइक्रोन्यूट्रिएंटस की प्राप्ति होती है।। चित्र : एडॉबीस्टॉक
Published On: 17 Jan 2025, 06:21 pm IST
Dr. Aditi Sharma
इनपुट फ्राॅम

सर्दी के मौसम में रूट्स वेजिटेबल्स की आमद बाज़ार में बढ़ने लगती है। फिर चाहे, वो शलगम, हो मूली हो, गाजर या चुंकदर। स्मूदी से लेकर अचार तक लोग इन सब्जियों का भरपूर इस्तेमाल करते है। मगर क्या आप जानते हैं इन सब्जियों को खाने से न केवल शरीर को पोषण की प्राप्ति होती है बल्कि वेटलॉस में भी मदद मिलती है। अगर आप भी सर्दी में वेटगेन से परेशान है, तो जड़दार सब्जी शरीर में कैलोरी स्टोरेज को रोकने में कारगर साबित हो सकती है। जानते हैं सर्दी में वेटगेन को नियंत्रित करने के लिए किस प्रकार रूट्स वेजिटेबल्स फायदेमंद साबित होती हैं (root vegetables for weight loss)

साइंस डायरेक्ट की रिपोर्ट के अनुसार जड़ वाली सब्जियाँ फाइबर और कॉम्पलेक्स कार्बोहाइड्रेट से भरपूर होती हैं, जो ऊर्जा का मुख्य स्रोत हैं। इससे शरीर को फाइटोकेमिकल्स की प्राप्ति होती हैं। रिसर्च के अनुसार 100 ग्राम गाजर से शरीर को 3 ग्राम फाइबर की प्राप्ति होती है। वहीं 100 ग्राम बीटरूट यानि चुकंदर से 5 ग्राम फाइबर मिलता है। साथ ही बेटालेन और कैरोटीनॉयड कंपाउड की भी प्राप्ति होती है।

डायटीशियन डॉ अदिति शर्मा बताती हैं कि आहार में जड़ वाली सब्जियों को शामिल करने से शरीर को सॉल्यूबल व इनसॉल्यूबल फाईबर, कॉम्प्लेक्स कार्ब्स और माइक्रोन्यूट्रिएंटस की भरपूर मात्रा में प्राप्ति होती है। गाजर, मूली और चुकंदर का ग्लाइसेमिक इंडैक्स लो होने से जहां डायबिटीज़ को नियंत्रित रखने में मदद मिलती है। तो वहीं वेटलॉस (root vegetables for weight loss) में भी फायदा मिलता है। दरअसल, इन्हें सेलेड और स्मूदी के रूप में लेने से पेट देर तक भरा रहता है, जिससे बढ़ते वज़न को रोका जा सकता है।

Digestion kaise boost karein
इन सब्जियों को आहार में शामिल करने से गट हेल्थ को मज़बूती मिलती है, जिससे मेटाबॉलिज्म बूस्ट होता है। चित्र : अडॉबीस्टॉक

इस तरह से सर्दियों में रूट्स वेजिटेबल्स को खाने से शरीर को वेटलॉस में मिलती है मदद (root vegetables for weight loss)

1. फाईबर की उच्च मात्रा

इन सब्जियों को आहार में शामिल करने से गट हेल्थ को मज़बूती मिलती है, जिससे मेटाबॉलिज्म बूस्ट होता है। इसके अलावा ब्लोटिंग, पेट दर्द, कब्ज और अपच की समस्या हल होने लगती है। इसके सेवन से शरीर को सॉल्यूबल और इनसॉल्यूबल फाइबर की प्राप्ति होती है, जिससे देर तक पेट भरा रहता है और खाने की क्रेविंग्स को नियंत्रित किया जा सकता है। इससे शरीर में बढ़ने वाली कैलेरीज़ को रोकने में मदद मिलती है।

2. लो कैलेरी फूड

शरीर को हेल्दी बनाए रखने के लिए पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है। अगर आप इन सब्जियों का सेवन करते हैं, तो इससे शरीर को विटामिन और मिनरल की प्राप्ति होती है। इसके अलावा ये लो कैलोरी फूड है, जिससे शरीर को प्रचुर मात्रा में एटीऑक्सीडेंट्स मिलते है, जो शरीर को ऑक्सीडेटिव तनाव से बचाते है। मूली चुकंदर, प्याज और गाजर खाने से बीटा कैरोटीन, एंथोसायनिन और फ्लेवोनोइड्स की प्राप्ति होती है। इससे शरीर में फैट्स को एकत्रित होने से रोकने में मदद मिलती है।

Root vegetable ke fayde
इससे शरीर में फैट्स को एकत्रित होने से रोकने में मदद मिलती है। चित्र- अडोबी स्टॉक

3. गट हेल्थ को पहुंचाए फायदा

जड़ वाली सब्जियां गट हेल्थ को फायदा पहुंचाती है। दरअसल, चुकंदर, आल,ू, शलगम और लहसुन में मौजूद प्रोबायोटिक बैक्टीरिया गट में गुड बैक्टीरिया को बढ़ाने में मदद करता है, जिससे वज़न को नियत्रित किया जा सकता है। इसके अलावा स्वीट पोटेटो यानि शकरकंदी में मौजूद फ्लेवोनोइड्स आंत के स्वास्थ्य को फायदा पहुंचाते हैं। साथ ही इनमें पाई जाने वाली फाइबर की मात्रा से माइक्रोबायोम को भी मज़बूती मिलती है। इससे शरीर में जमा अतिरिक्त कैलोरीज़ से बचा जा सकता है।

4. एंटी इंफ्लेमेटरी गुणों से भरपूर

जड़ वाली सब्जियों में सूजनरोधी गुण पाए जाते है, जिससे वज़न के रोकथाम में मदद मिलती है। बीटरूट का सेवन करने से शरीर को बेटालेन्स कंपाउड की प्राप्ति होती है, जिससे सूजन को कम किया जा सकता है। इसके अलावा अदरक, प्याज और शकरकंदी में भी ये गुण पाए जाते हैं। इससे शरीर में वेटगेन से बचा जा सकता है और सर्दी के मौसम में बढ़ने वाली ऐंठन, दर्द और सूजन से भी राहत मिलती है।

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इन रूट्स वेजिटेबल्स को करें आहार में शामिल (Root vegetables to lose weight in winter)

1. शकरकंदी

नेशनल लाइब्रेरी आूफ मेडिसिन के अनुसार शकरकंदी का सेवन करने से शरीर को फाइबर, विटामिन सी, मैंगनीज और विटामिन ए की प्राप्ति होती हैं। इसे आहार में शामिल करने से बीटा कैरोटीन, क्लोरोजेनिक एसिड और एंथोसायनिन भी मिलता हैं।

2. चुकंदर

इसमें नाइट्रेट की उच्च मात्रा पाई जाती है, जो शरीर में ब्लड के फ्लो को बनाए रखने में मदद करते हैं। इसके अलावा चुकंदर का सेवन करने से शरीर को फाइबर, फोलेट और मैगनीज़ की भी प्राप्ति होती है। इससे वेटलॉस में मदद मिलती है।

3. शलगम

अपनी मील में शलगम को शामिल करने से विटामिन सी, फाइबर, मैगनीज़ और पोटेशियम की प्राप्ति होती है। इस लो कैलेरी फूड को सेलेड के रूप में खाने से क्रेविंग्स को नियंत्रित करके रेस्पीरेटरी हेल्थ को ठंउ के मौसम में बूस्ट करने में मदद मिलती है।

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अपनी मील में शलगम को शामिल करने से विटामिन सी, फाइबर, मैगनीज़ और पोटेशियम की प्राप्ति होती है। चित्र:शटरस्टॉक

4. मूली

ये एक लो कार्ब और लो कैलेरी फूड है। एंटी फंगल प्रॉपर्टीज़ से भरपूर मूली का सेवन करने से गट हेल्थ को बूस्ट करके पेट में बनने वाले अल्सर को रोका जा सकता है। इससे शरीर हेल्दी और एनर्जी से भरपूर बना रहता है।

5. गाजर

गाजर को सेवन करने से शरीर को विटामिन मिनरल और एंटीऑक्सीडेंटस की प्राप्ति होती है। इससे शरीर को डिटॉक्सिफाई करने में मदद मिलती है। इस लो कैलोरी फूड में फाइबर की प्रचुर मात्रा पाई जाती है। गाजर खाने से संक्रामक रोगों का खतरा कम होने लगता है।

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लेखक के बारे में
ज्योति सोही
ज्योति सोही

लंबे समय तक प्रिंट और टीवी के लिए काम कर चुकी ज्योति सोही अब डिजिटल कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। ब्यूटी, फूड्स, वेलनेस और रिलेशनशिप उनके पसंदीदा ज़ोनर हैं।

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