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बचपन से एक्सरसाइज करना देता है भविष्य में कई स्वास्थ्य लाभ, जानिए क्या कहती है ये स्टडी

बचपन का खानपान और अच्छी सेहत बड़े तक काम आती है। जी हां.... यह सिर्फ कहने वाली बात नहीं है बचपन में की गई एक्सरसाइज़ आगे चलकर आपको स्वस्थ रखने में मदद करती है।
सुबह खाली पेट और शाम के वक्त योगासनों का अभ्यास शरीर को एनर्जेटिक बनाता है और हाईट में भी फर्क नज़र आने लगता है। चित्र: शटरस्टॉक
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जब हम छोटे होते हैं तो अक्सर मम्मी यह कहकर सभी चीज़ें खिलाती हैं कि ”अभी से शरीर पर ध्यान दोगी तभी आगे जाकर स्वस्थ रहोगी।” बचपन में यह सब बातें समझ नहीं आती है, क्योंकि स्वास्थ्य के प्रति जागरूक नहीं होते हैं। मगर जब बड़े होकर घुटनों में तकलीफ, थोड़ा सा काम करने पर कमजोरी लगना जैसी छोटी समस्याएं बड़ी बन जाती हैं, तो समझ आता है कि शायद मम्मी सही कहती थीं।

मगर यह बात सिर्फ खानपान और मम्मी की सलाह तक ही सीमित नहीं है। क्योंकि वैज्ञानिक तौर पर भी अब यह प्रमाणित हो गया है कि बचपन में की गई शारीरिक कसरत आपको सालों – साल स्वस्थ रखती है और इसके कई लॉन्ग टर्म बेनेफिट्स हैं। तो चलिये जानते हैं इससे जुड़े अध्ययन में क्या सामने आया?

जानिए अध्ययन में क्या सामने आया?

बेहतर शारीरिक परीक्षण के परिणाम जीवन में बाद में बेहतर अनुभूति से जुड़े होते हैं और बाद के वर्षों में मनोभ्रंश से सुरक्षा प्रदान कर सकते हैं। इसके लिए 1985 में पैदा हुए 1200 से अधिक लोगों पार अध्ययन किया गया। बता दें कि, ये परिणाम शैक्षणिक क्षमता, बचपन में सामाजिक आर्थिक स्थिति, या मध्य आयु में सिगरेट और शराब के उपयोग से प्रभावित नहीं हैं।

जर्नल ऑफ साइंस एंड मेडिसिन में छपी इस स्पोर्ट के अनुसार जो बच्चे बड़े होकर खेल और अन्य शारीरिक व्यायाम में भाग लेते हैं। उनके लंबे समय में बेहतर स्वास्थ्य परिणाम होते हैं। वयस्क फिटनेस का एक उच्च स्तर भी बेहतर स्वास्थ्य और बुढ़ापे में मनोभ्रंश के कम जोखिम से जुड़ा हुआ है।

इससे यह भी पता चलता है की भविष्य में संज्ञानात्मक गिरावट के खिलाफ सुरक्षात्मक रणनीतियों को बचपन से ही शुरू करने की आवश्यकता है ताकि मस्तिष्क वृद्ध जीवन में मनोभ्रंश जैसी विकासशील स्थितियां के जोखिम का कारक न बनें।”

बच्चों को योगा करना सिखाएं । चित्र: शटरस्टॉक

तो बच्चों के लिए कैसे फायदेमंद है एक्सरसाइज़

याद रखें, व्यायाम का मतलब किसी भी प्रकार की शारीरिक गतिविधि है जिससे हृदय गति तेज हो जाती है। क्यों जरूरी है बचपन का व्यायाम?

यह हड्डियों और जोड़ों को मजबूत करता है
मांसपेशियों की ताकत बढ़ाता है
यह आपको बेहतर लचीलापन देता है
आपके पास एक स्वस्थ हृदय प्रणाली होगी (यह हृदय रोग और उच्च रक्तचाप के विकास के जोखिम को कम करता है)
यह मधुमेह के विकास की संभावना को कम करता है
आपके पास अधिक ऊर्जा होगी
यह शरीर की चर्बी को कम करता है, जिससे बीमारियों का खतरा कम हो सकता है
यह तनाव को संभालने की क्षमता को बढ़ाता है
स्कूल में बेहतर एकाग्रता
आत्म-विश्वास और आत्म-सम्मान में सुधार हो सकता है

हर दिन 30 मिनट की शारीरिक गतिविधि से हृदय गति बढ़ सकती है। जैसे-जैसे बच्चे बढ़ते हैं, यह नहीं बदलता है और जन्म से शुरू होता है! शरीर का हिलना-डुलना, उछलना, रेंगना और फिर चलना जैसी गतिविधियां, सभी व्यायाम के रूप हैं।

शारीरिक गतिविधि को प्रोत्साहित करने के लिए टिप्स

ऐसी एक्टिविटी चुनें जो आपके बच्चे को पसंद हों और जो मज़ेदार हों।

सुनिश्चित करें कि बहुत सारी वैरायटी हो और आपका बच्चा विभिन्न चीजों की कोशिश करता रहे।

अपनी रुचि के विषय चुनें और फ़ीड कस्टमाइज़ करें

कस्टमाइज़ करें

अपने बच्चे के दिन में शारीरिक गतिविधि का निर्माण करें – उदाहरण के लिए, स्कूल जाना, कार धोना या बगीचे में मदद करना।

बच्चे को स्क्रीन टाइम के बजाय पार्क जाने जैसी एक्टिविटीज के लिए प्रोत्साहित करें।

अपने बच्चे की प्रशंसा करें।

स्वयं सक्रिय रहें और पूरे परिवार को शामिल करें।

तो यदि आपका बच्चा अभी छोटा है तो तो उसकी शारीरिक गतिविधि पर ध्यान दें, ताकि बड़े होकर उसे कोई समस्या न आए।

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ऐश्‍वर्या कुलश्रेष्‍ठ

प्रकृति में गंभीर और ख्‍यालों में आज़ाद। किताबें पढ़ने और कविता लिखने की शौकीन हूं और जीवन के प्रति सकारात्‍मक दृष्टिकोण रखती हूं। ...और पढ़ें

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