क्या आप अपनी फिटनेस को लेकर कॉन्शियस हैं, लेकिन वेट लिफ्टिंग से दूर भागती हैं? यदि आप भी ऐसा करती हैं तो यकीन मानिए आप अकेली नहीं हैं। क्योंकि कई महिलाओं को ऐसा लगता है कि वेट ट्रेनिंग से उनकी मसल निकल आएंगी या वे मर्दाना लगने लगेंगी। वैसे भी वेट लिफ्ट करने को पुरुषों से जोड़कर देखा जाता है। मगर क्या इसमें कोई सच्चाई है? क्या वेट लिफ्टिंग करने से महिलाएं मर्दाना लग सकती हैं? क्या बस कुछ दिन वेट लिफ्ट करने से उनके सीने बाहर निकल आएंगे? और उनकी मसल बिल्ड अप होना शुरू हो जाएगी? चलिये पता करते हैं।
कई लोगों कि इसी समस्या को साझा करते हुये सेलेब्रिटी पोषण विशेषज्ञ सिद्धांत चतुर्वेदी नें अपने इंस्टाग्राम हैंडल पर एक पोस्ट साझा की। जिसमें वे यही समझाने कि कोशिश कर रहे हैं कि कैसे, महिलाओं का इसलिए वेटलिफ्टिंग (Weight Lifting) न करना कि उनके मसल्स्स बन जाएंगे – एक मिथ है।
डॉ. सिद्धांत का कहना है कि ”महिलाएं वेट लिफ्टिंग करने से मर्दाना नहीं लगती हैं – यह एक मिथ है। सबसे पहले इस वीडिओ में उन्होनें कुछ फ़ीमेल सेलेब्रिटीज की तसवीरें दिखाई जो वेट लिफ्टिंग करती हैं। इसके बाद उन्होनें ये भी क्लियर किया कि महिलाओं के शरीर में पुरुषों के मुक़ाबले टेस्टोस्टेरोन हॉरमोन की कमी होती है, जो कि मसल बनाने के लिए जिम्मेदार है।”
साथ ही डॉ. सिद्धांत नें यह भी बताया कि ”महिलाओं के लिए वेट लिफ्टिंग कितनी ज़रूरी है। क्योंकि यह उनका स्टेमिना बढ़ा सकती है। साथ ही, यह वेट लॉस के दौरान आपके फैट को लटकने नहीं देगी। वेट लिफ्टिंग की मदद से आप खुद को लीन रख सकती हैं।”
यह एक आम गलत धारणा है कि वेट लिफ्टिंग जोड़ों पर हानिकारक भार डालती है। मगर जर्नल ऑफ रुमेटोलॉजी में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया कि जब जोड़ों के दर्द से पीड़ित लोगों ने वजन कम करने वाले व्यायाम किए, तो उन्होंने चार महीने के बाद दर्द में 43 प्रतिशत की कमी का अनुभव किया। वे दैनिक कार्यों को करने में भी बेहतर महसूस कर रहे थे।
फ़ैक्ट: वेट लिफ्टिंग मांसपेशियों का निर्माण करती है और जोड़ों की रक्षा करने में मदद करती है।
अक्सर उच्च रक्तचाप वाले लोगों को वजन उठाने से दूर रहने की चेतावनी दी जाती है क्योंकि यह रक्तचाप को और बढ़ा सकता है। वास्तव में, एरोबिक एक्सरसाइज़ के साथ, वेटलिफ्टिंग हाइ ब्लड प्रैशर को कम कर सकती है। अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन के अनुसार, सकारात्मक परिणाम देखने के लिए आपको सप्ताह में केवल दो या तीन सेशन लेने की आवश्यकता है।
वजन बढ़ने से होने वाली समस्याओं से सतर्क रहने के लिए
बीएमआई चेक करेंफ़ैक्ट : समय के साथ, वेट लिफ्टिंग रक्तचाप को कम कर सकता है और आपके हृदय को स्वस्थ बना सकता है।
यदि सही तरीके से किया जाए, तो वेट लिफ्टिंग वास्तव में विपरीत प्रभाव डाल सकता है। जर्नल ऑफ स्ट्रेंथ एंड कंडीशनिंग रिसर्च में एक अध्ययन में पाया गया कि वेट लिफ्टिंग लचीलेपन के साथ-साथ फ्लेक्सिबिलिटी में सुधार करती है।
फ़ैक्ट: लचीलेपन में सुधार के लिए वेट लिफ्टिंग करते समय गति का उपयोग करें।
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