गर्मी के मौसम में अधिकतर लोग स्लीवलेस पहनना पसंद करते हैं, मगर आर्मपिट पर बढ़ने वाला फैट उनकी समस्या का कारण बनने लगता है। शरीर में जमा होने वाले कैलोरीज़ बाजूओं और आर्मपिट पर जमा चर्बी का कारण साबित होने लगता है। इससे राहत पाने के लिए लोग कई प्रकार की हाई इटैंसिटी एक्सरसाइज़ करने लगते हैं। मगर सुबह उठकर एक्सरसाइज़ का अभ्यास कर सकते हैं। जानते है उन 4 एक्सरसाइज़ के बारे में, जिससे आर्मपिट फैट की समस्या होगी हल (Armpit fat workout) ।
इस बारे में जिम सर्टिफाइड फिटनेस ट्रेनर नेहा बताती हैं कि आर्मपिट में उम्र के साथ बढ़ने वाले फैटस और स्टिफनेस को दूर करने के लिए एक्सरसाइज़ बेहद ज़रूरी है। उम्र के साथ आर्मपिट के नज़दीक की स्किन लटकने लगती है। इस समस्या को दूर करने के लिए दिनभर में जब भी समय मिले तो आर्म सर्कल और बाजूओं की स्ट्रेचिंग समेत कुछ आसान एक्सरसाइज़ से बाजूओं और बगल में बढ़ने वाले फैट्स को बर्न करने में मदद मिलती है। साथ ही छाती और कंधों के मसल्स को भी मज़बूती मिलती है।
बाजूओं पर जमा चर्बी को दूर करने के लिए एक्सरसाइज़ बेहद फायदेमंद है। इससे बाजूओं की मांसपेशियों को मज़बूती मिलती है और बाजूओं में बढ़ने वाला दर्द भी कम होने लगता है।
इसके लिए बैड पर बैठ जाएं और दोनों टांगों को जमीन पर टिका लें। अब अपनी दोनों बाजूओं को कोहनी से मोड़ लें और बाजूओं को आगे से पीछे की ओर लेकर जाएं और राउंड शेप में घुमाएं। आर्म सर्कल को तीन सेट में 15 से 20 बार करें।
शरीर की मांसपेशियों को मज़बूती प्रदान करने के लिए एक्सरसाइज़ बेहद आवश्यक है। इससे पेट की चर्बी के अलावा बाजूओं पर जमा फैट्स से भी मुक्ति मिल जाती है। नियमित तौर पर माउनटेन क्लाइंबर्स का अभ्यास बाजूओं को मज़बूत बनाता है।
इसे एक्सरसाइज़ को करने के लिए मैट पर घुटनों के बल बैठ जाएं और दोनों बाजूओं को जमीन पर टिका लें। अब शरीर को उपर की ओर उठाएं और पैरों को सीधा कर लें। पैरों और बाजूओं के मध्य शोल्डर्स से अधिक दूरी बनाकर रखें। अब दाईं टांग को आगे करें और बाएं घुटने को मोड़ते हुए चेस्ट के पास लेकर आएं। फिर बाई टांग से भी आसन दोहराएं।
कंधों और बाजूओं में बढ़ने वाली स्टिफनेस को दूर करने के लिए पुश अप्स बेहद फायदेमंद साबित होते हैं। इससे बाजूओं के दर्द से राहत मिलती है और अतिरिक्त चर्बी की समस्या भी दूर होने लगती है। इसके अनियमित अभ्यास से शरीर के पोश्चर में सुधार आने लगता है। रोज़ाना पुश अप्स का अभ्यास करने से शरीर में ब्लड सर्कुलेशन नियमित बना रहता है।
पेट के बल मैट पर लेट जाएं। अब दोनों हाथों को मज़बूती से जमीन पर टिका लें। इसके बाद पैरों को सीधा कर लें और दोनों बाजूओं को कंधे की चौड़ाई से ज्यादा फैलाएं। इससे पुश अप्स करने में आसानी होती है। पुश अप्स को 2 सेट में 15 से 20 बार दिन में 3 बार दोहराएं। इससे बाजूओं और गर्दन पर बढ़ने वाली हंप की समस्या से राहत मिल जाती है।
शरीर की मांसपेशियों में बढ़ने वाली ऐंठन को दूर करने के लिए जंपिग जैक्स बेहद कारगर एक्सरसाइज़ है। इसे करने से कंधों, बाजूओं और टांगों में बढ़ने वाले फैट्स को बर्न करने में मदद मिलती है। शरीर स्वस्थ रहता है और स्टेमिना बूस्ट होने लगता है।
जंपिग जैक्स के लिए दोनों पैरों के मध्य गैप मेंटेप कर लें और एकदम सीधे खड़े हो जाएं। अब टांगों और बाजूओं को खोलें और फिर एक साथ ले आएं। इस दौरान सांस पर ध्यान अवश्य केंद्रित करें। 2 से 3 सेट्स में 15 बार जंपिग जैक्स को दोहराने से वेटलॉस में मदद मिलती है।
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