एंडोमेट्रोसिस एक गंभीर स्थिति है जो रजोनिवृत्ति (Menopause) से पहले किसी भी उम्र की महिलाओं को प्रभावित कर सकती है। एंडोमेट्रियम कोशिकाओं के कारण जब वे गर्भाशय गुहा के बाहर बढ़ने लगते हैं और आपके अंडाशय, आंत और श्रोणि ऊतक में फैलते हैं – तब यह दर्दनाक बीमारी होने लगती है। लेकिन शुक्र है, कि केवल 10% महिलाएं ही इससे पीड़ित हैं।
एंडोमेट्रियम टिश्यू का यह फैलाव आसपास के क्षेत्रों को सूजन और दर्दनाक होने का कारण बनता है। क्योंकि फंसे हुए टिश्यूज का पेल्विक से बाहर निकलने का कोई तरीका नहीं होता है। इससे जलन, निशान गठन, पीरियड्स में गंभीर दर्द और प्रजनन समस्याएं हो सकती हैं। दुनिया भर के विशेषज्ञ अभी भी इसके कारणों पर शोध कर रहे हैं। पर यह एक ऐसी स्थिति है जिसे आसानी से संभाला जा सकता है।
आंतरिक दर्द, सूजन, और रक्तस्राव की समस्याओं के अलावा- एंडोमेट्रियोसिस भी त्वचा के बहुत अधिक संवेदनशील होने का कारण हो सकती है। वास्तव में, यह क्रोनिक पेनफुल डिजीज त्वचा संबंधी समस्याओं से भी जुड़ी है जैसे:
बड़ी उम्र में होने वाले मुंहासे एंडोमेट्रोसिस से जुड़ी सबसे आम त्वचा समस्याओं में से एक है। मुंहासे हार्मोनल असंतुलन के कारण होतेे है और यह पीरियड्स के पहले और बाद में अस्थायी रूप से उत्पन्न हो सकतेे है। मुंहासे, ब्लैकहेड्स,वाइटहेड्स , और स्मॉल सिस्ट जैसे त्वचा के नीचेे होने वाले बम्प्स और पिम्पल्स।
बर्थ कंट्रोल पिल्स जिन्हें अक्सर एंडोमेट्रियोसिस को मैनेज करने के लिए प्रयोग किया जाता है, भी मुँहासे का कारण हो सकती हैं। इसलिए जरूरी है कि इनके लिए किसी त्वचा विशेषज्ञ से परामर्श करें।
महिलाओं मेंं एंडोमेट्रोसिस के साथ ल्यूपस होने का जोखिम ज्यादा रहता है। जिसके चलते सूजन और त्वचा पर चकत्ते दिखाई देने लगते है। सूर्य के संपर्क में आने पर त्वचा अधिक संवेदनशील हो जाती है। ल्यूपस आसानी से दवाओं, व्यायाम और आहार परिवर्तनों के साथ प्रबंधित किया जा सकता है।
एंडोमेट्रियोसिस से पीड़ित महिलाएं त्वचा पर एलर्जी के प्रति अधिक संवेदनशील होती हैं। क्योंकि जब आपको यह बीमारी होती है तो आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली अधिक सक्रिय हो जाती है। जिससे त्वचा पर एलर्जी, लाल चकत्ते और पित्ती जैसी समस्याएं उभरने लगती हैं।
त्वचा की सूजन का ही एक प्रकार है एक्जिमा । प्रतिरक्षा विकार के कारण त्वचा पर लाल, सूखे और परतदार पैच दिखाई देने लगते हैं। एक्जिमा के कारणों और प्रकार का सही तरीके से पता करके इसका सावधानी पूर्वक उपचार किया जा सकता है।
इस बीमारी के कारण होने वाली प्रमुख समस्याओं में एक समस्या त्वचा की असंगतता है। आपको पता ही नहीं चल पाएगा कि कब आपकी त्वचा कैसी दिखने लगे। एक दिन आपकी त्वचा से सभी चकत्ते गायब हो जाएंगे और अगले दिन वह चकत्ते फिर से दिखाई देने लगेंगे। एंडोमेट्रोसिस के कारण होने वाली त्वचा संबंधी समस्याओं के कारण मरीज को अपमान, शर्म और शारीरिक और मनोवैज्ञानिक ठेस भी उठानी पड़ती है।
यदि आपको एंडोमेट्रोसिस की वजह से आपकी त्वचा का प्रबंधन करने में परेशानी हो रही है, तो यह समय है कि आपके त्वचा विशेषज्ञ के साथ अपॉइंटमेंट फिक्स करें। ताकि पता चल सके कि आपकी स्किन के हिसाब से आपको किन उत्पादों का उपयोग करना चाहिए। आप त्वचा के प्राकृतिक संतुलन को बनाए रखने के लिए अपनी जीवनशैली में भी बदलाव कर सकती हैं।
पहला नियम हमेशा आपकी त्वचा के साथ कोमल होना है। आपके त्वचा विशेषज्ञ द्वारा निर्धारित दवाओं के अलावा, आप यह भी कोशिश कर सकती हैं:
और जरूरी है कि
इसके अलावा:
एंडोमेट्रोसिस एक बीमारी है जो शरीर में सूजन का कारण बनती है। इसमें त्वचा पर किसी भी उत्पाद का उपयोग करने से बचने की कोशिश करनी चाहिए। स्किन केयर प्रोडक्ट चुनते समय यह ध्यान रखें कि वह ऑर्गेनिक प्रोडक्ट हों और पेराबेन और सल्फेट फ्री हों। स्किन केयर में एक हॉलिस्टिक एप्रोच आपको कई समस्याओं से निजात दिला सकती है।