त्वचा और बालों को सर्दी के मौसम में मॉइश्चराइज़ रखने के लिए नेचुरल ऑयल का भरपूर इस्तेमाल किया जाता है। इसमें मौजूद फैटी एसिड जहां स्किन और बालों की नरिशमेंट में फायदा पहुंचाते हैं, वहीं आई लैशेज के लिए भी गुणकारी सिद्ध होते हैं। इन्हीं तेलों में से एक है अरंडी का तेल जिसे कैस्टर ऑयल कहा जाता है। इसमें पाई जाने वाली फैटी एसिड की मात्रा आइ लैशेज़ को घना बनाने में मददगार साबित होती है। जानते हैं कैस्टर ऑयल के फायदे और इसे अप्लाई करने का तरीका भी (Castor oil for eyelash growth)।
अरंडी का तेल पलकों को हाइड्रेटेड, मुलायम और हेयरलॉस से बचाता है। इसमें मौजूद लेक्सेटिव गुण जहां मुंहासे और सूजन को कम करते हैं। वहीं पलको को घना बनाने में भी मदद करते है। इस बारे में डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ कल्पना सोलंकी बताती हैं कि ये नेचुरल ऑयल बेहद गाढ़ा होता है। इसमें मौजूद विटामिन ई की मात्रा पलकों के बालों की ग्रोथ को बूस्ट करने में मदद करते है। साथ ही ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करके फ्री रेडिकल्स के प्रभाव को कम किया जा सकता है।
अरंडी के तेल में रिसिनोलेइक एसिड पाया जाता है। इससे बालों को हाइड्रेट रखने में मदद मिलती है और मॉइश्चर को रीस्टोर किया जा सकता है। इससे पलकों के टूटने की समस्या हल होती है और पलकें पहले की तुलना में घनी दिखने लगती हैं।
अरंडी के तेल में मौजूद फैटी एसिड हेयर फॉलिकल्स में गहराई से प्रवेश करते हैं और उसके रूखेपन को कम करते हैं। इसे आंखों पर लगाकर हल्की मसाज करने से पलकों को पोषण की प्राप्ति होती है। रोज़ाना इसका इस्तेमाल फायदा पहुंचाता है।
आई लैशेज पर केमिकल का इस्तेमाल पलकें गिरने की समस्या को बढ़ा देता है। मोटी और गहरी पलकों के लिए अरंडी के तेल का उपयोग करें। इसे नारियल के तेल में मिलाकर मसाज करने से भी भौहों को पोषण की प्राप्ति होती है।
पलकों और भौंहों दोनों पर अरंडी के तेल की मसाज करने से बालों का झड़ना कम होने लगता है। इसे लगाने से पलकों पर बढ़ने वाली ड्राईनेस को भी कम किया जा सकता है। इसमें मौजूद एंटी बैक्टीरियन गुण रैशेज और संक्रमण को दूर करने में मदद करते हैं।
एनआईएच के अनुसार एंटी बैक्टीरियल और एंटीइंफ्लेमेटरी गुणों से भरपूर अरंडी के तेल को लगाने से रिसिनोलेइक एसिड की प्राप्ति होती है। इससे स्किन की नमी को बरकरार रखने और फॉलिकल्स की मज़बूती को बढ़ाने में मदद मिलती है। इससे स्किन हाइड्रेट रहती है और उसे पोषण की प्राप्ति होती है। इससे त्वचा को खुरदरापन कम होता है।