सुन्दर बाल सभी की ख्वाहिश होते हैं मगर कई बार इस जूनून में हम अपने बालों की देखभाल करने के बजाय उन्हें नुक्सान पहुंचा देते हैं। बालों की खूबसूरती बढ़ाने का दावा करने वाले कई नुस्खे असल में कोई लाभ नही पहुंचाते। पर कई बारे ये इतने ज्यादा नुकसानदायक साबित होते हैं कि इनकी भरपाई भी मुश्किल हो जाती है।
तो इन सभी मिथ्स को तोड़कर आप तक सही जानकारी पहुंचाने के लिए हम यहां एक एक्सपर्ट को लेकर आए हैं। डर्मा क्लीनिक के डायरेक्टर डॉ अमरेन्द्र कुमार बताते हैं हेयर केयर के लिए जरूरी कुछ खास बातें।
कई महिलाओं का मानना है की रोज़ाना बाल धोने से बाल ज्यादा साफ़ और स्वस्थ होते हैं। मगर यह सिर्फ मिथ है। असल में जब आप रोज़ बाल धोती हैं तो आपके बालों से उनका प्राकृतिक तेल भी छिन जाता है, जिसके कारण आपकी स्कैल्प में मौजूद कोशिकाएं और ज्यादा तेल पैदा करने लगती हैं। बाल ज्यादा ऑयली और गंदे हो जाते हैं। इसके बजाय डॉ अमरेन्द्र हफ्ते में 2 से 3 बार ही शैम्पू करने की सलाह देते हैं। शैम्पू के बाद कंडीशनर का प्रयोग ज़रूर करना चाहिए।
भारत में ख़ासकर उत्तरी भारत में ठण्ड काफी होती है। ऐसे में सर्दियों में हम नहाने से लेकर बाल धोने तक सब काम गर्म पानी से ही करते हैं। मगर आपकी यह एक आदत आपके बालों के लिए खतरनाक हो सकती है। गर्म पानी बालों के रोम छिद्रों को खोल देता है, जिसके कारण बाल ज्यादा गिरते हैं। यही नही, गरम पानी के प्रयोग से बालों की नमी भी खत्म हो जाती है, और बाल रूखे और बेजान नज़र आते हैं। बालों को हमेशा हल्के ठंडे पानी से ही धोना चाहिए।
ये मिथ लगभग सभी मानते हैं। मगर यह आदत बालों के लिए बहुत ही नुकसानदायक है। सोने से पहले बालों को हमेशा ढीली चोटी में गुथ लेना चाहिए। इससे बाल उलझ कर टूटने से बचते हैं और बढ़ते भी हैं। सिल्क या साटिन के पिलो कवर का इस्तेमाल भी बालों के लिए फायदेमंद होता है। जबकि खुरदुरे तकिये पर बाल ज्यादा रगड़ खाते हैं और टूटते हैं।
इस बात में सच्चाई कम और प्रतिज्ञा का फील ज्यादा आता है। शैम्पू आपका पार्टनर नहीं है, जिसे बदलने से आपके स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचेगा। बाल असल में मृत कोशिकाएं होती हैं, उन्हें किसी भी प्रकार ही आदत नही लगती। यह मिथ बाज़ार को फायदा पहुंचाने के लिए ही फैलाई गई है, ताकि आप उन्हीं के शैंम्पू से चिपकी रहें। असल में तो शैम्पू का काम केवल बालों को साफ करना होता है। बाल लंबे, काले और स्मूथ बनाने का दावा करने वाले शैम्पू ब्रैंड्स सिर्फ आपको लूट रहे होते हैं। बजाय इसके बालों को पोषण मिलने का स्रोत हमारे खान-पान से होता है।
यह मिथ तो हम सबने ज़रूर सुना होगा। मगर साइंटिफिकली इस बात में कोई सच्चाई नहीं है। बाल हमेशा जड़ो से बढ़ते हैं और नीचे से बाल काटने का जड़ों से कोई लेना-देना ही नहीं है। दो मुंहे बालों से छुटकारा पाने के लिए बाल काटना अच्छा उपाय है।
तब तो हमें सारा दिन बालों को कंघी ही करते रहना चाहिए। बार-बार कॉम्ब या ब्रश करने का टाइम किसके पास है! ये बात सच है कि बालों को ब्रश करने से स्कैल्प में मौजूद ऑयल पूरे बालों में डिस्ट्रीब्यूट हो जाता है। लेकिन बार-बार ब्रश करने के पीछे कोई साइंटिफिक बैकिंग नहीं है। और न ही हमारे पास इतना टाइम और पेशेंस। तो इस मिथ को पूरी तरह खारिज कर दीजिए।
नियमित रूप से अपने बालों की मालिश करने से आपके स्कैल्प हेल्दी रहतेे हैंं। चित्र सौजन्य: शटरस्टॉक
डॉ अमरेन्द्र बताते हैं बालों की केयर करने के उपाय-
कुछ समय खुद को भी दे और फिर देखिये आप कैसे चमक उठती हैं।
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